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भारत के राष्ट्रपति ने आइसलैंड की अपनी राजकीय यात्रा के अंतिम दिन भारत-आइसलैंड व्यापार मंच को संबोधित किया; उन्होंने कहा कि प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में आइसलैंड की सुयोग्यता और भारत के वैज्ञानिक कौशल के साथ मिलकर काम करने से चौथी औद्योगिक क्रांति को आगे बढ़ाया जा सकता है

राष्ट्रपति भवन : 11.09.2019

भारत के राष्ट्रपति, श्री राम नाथ कोविन्द ने आज (11 सितंबर, 2019) आइसलैंड के रेक्याविक में भारत-आइसलैंड व्यापार-मंच को संबोधित किया।

इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि भारत की प्रगति और सतत विकास के लिए इसकी प्रतिबद्धता तथा आइसलैंड की व्यापारिक सुदृढ़ता के बीच साझेदारी स्वाभाविक है। भू-तापीय ऊर्जा, ‘सर्कुलर इकॉनमी’, वित्तीय सेवाएं, मत्स्य पालन, खाद्य प्रसंस्करण, जहाजरानी, पर्यटन और नवाचार के क्षेत्र में आइसलैंड की क्षमता उत्कृष्ट है। चाहे ‘कार्बन कैप्चर’ हो, ऊर्जा दक्ष भवन हों या कचरे को संपदा में बदलने की परियोजनाएँ हों, आइसलैंड हर प्रकार की हरित प्रौद्योगिकियों में अग्रणी है। इसकी आर्थिक सफलता की गाथा का अनुकरण अनेक देश करना चाहेंगे। भारत के परिवर्तनकारी विकास कार्यक्रमों और अगली पीढ़ी की अवसंरचना परियोजनाओं के रुप में आइसलैंड की कंपनियों के लिए प्रचुर अवसर मौजूद हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि भारत की प्रगति और आइसलैंड की उपयुक्त क्षमताएं एक दूसरे के पूरक हैं। व्यापार, निवेश, सेवाओं से लेकर अनुसंधान और नवाचार तक के कई क्षेत्रों में आर्थिक भागीदारी बढ़ाने की गुंजाइश है। हमारे द्विपक्षीय व्यापार के आंकड़े बहुत उत्साहवर्धक नहीं हैं किन्तु भारतीय बाजार और आइसलैंड की व्यापारिक शक्ति से इसमें महत्वपूर्ण वृद्धि हो सकती है। विनिर्मित वस्तुओं, फलों और सब्जियों, वस्त्रों, रसायनों तथा इंजीनियरिंग सामानों का भारत से आयात करने के बारे में आइसलैंड विचार कर सकता है। फार्मा, हेल्थकेयर और बायोटेक के क्षेत्र में भारत और आइसलैंड के बीच व्यापार बढ़ाने की बहुत गुंजाइश है। वित्त, आतिथ्य और पर्यटन सेवाओं के क्षेत्र में भी महत्वपूर्ण अवसर मौजूद हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में आइसलैंड की सुयोग्यता और भारत का वैज्ञानिक कौशल यदि एक साथ मिलकर काम करें तो चौथी औद्योगिक क्रांति और ‘मशीन-इंटेलिजेंस’ युग को गति दी जा सकती है। रोबोटिक्स, पारिस्थितिकी और समुद्री कूड़े-कचरे पर काम करने वाले हमारे स्टार्ट-अप आइसलैंड, भारत या दुनिया के किसी भी अन्य हिस्से में हमारे भविष्य के कार्यक्रमों के संभावित आधार स्तम्भ बन सकते हैं।

आज ही, राष्ट्रपति अपने सम्मान में आयोजित दोपहर के राज-भोज में आइसलैंड के प्रधानमंत्री कातरीन याकोब्सदोत्तिर से मिलेंगे।

राष्ट्रपति आज दोपहर अपनी यात्रा के दूसरे चरण में स्विट्जरलैंड के लिए रवाना होंगे।