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‘डॉ. कलाम संदेश वाहिनी विजन 2020’ बस द्वारा रामेश्वरम से राष्ट्रपति भवन पहुंचे बच्चों ने राष्ट्रपति से मुलाकात की

राष्ट्रपति भवन : 15.10.2017

‘डॉ. कलाम संदेश वाहिनी विजन 2020’ बस द्वारा रामेश्वरम से राष्ट्रपति भवन पहुंचे बच्चों ने आज (15 अक्तूबर, 2017) भारत के राष्ट्रपति, श्री राम नाथ कोविन्द से मुलाकात की।

इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि डॉ. कलाम सदैव महानतम व्यक्तियों में से एक हैं। उन्होंने कहा कि एक वैज्ञानिक, एक विद्वान और भारत के राष्ट्रपति के रूप में उनकी स्मरणीय उपलब्धियों के लिए उनका सम्मान किया गया। किसी भी देश में युवाओं के चरित्र निर्माण का सबसे अच्छे उपायों में से एक है, महान व्यक्तियों की जीवनी को पढ़कर उनको प्रेरित करना।

राष्ट्रपति ने कहा कि डॉ. कलाम भारत के एक बड़े स्वप्नद्रष्टाओं में से एक थे और उन्हें ‘मिसाइलमेन ऑफ इंडिया’ और ‘पीपुल्स प्रिसीडेंट’ के रूप में बड़े प्यार के साथ याद किया जाता है। उन्होंने न्यूक्लियर टेक्नॉलोजी से लेकर दिल के लिए कम कीमत के स्टेंट डिजाइन करने अथवा पोलियो रोगियों के लिए हल्के वजन वाले कैलिपर्स डिजाइन करने तक, विभिन्न क्षेत्रों में स्वयं को संलग्न कर भारत की वैज्ञानिक विरासत में सबसे अहम योगदान दिया। डॉ. कलाम के शानदान योगदान को भारत कभी नहीं भूलेगा। उनमें शिक्षण और शिक्षा के लिए भारी जुनून था और उन्होंने युवाओं के मन-मस्तिष्क को सोचने और नवान्वेष की तरफ लगाया। वे लोगों के साथ रहने में प्रसन्न रहते थे। लोग और युवा उन्हें बहुत प्यार करते थे। वे छात्रों से प्रेम करते थे और उन्होंने अपना अंतिम समय उनके बीच बिताया।

राष्ट्रपति ने कहा कि डॉ. कलाम संदेश वाहिनी बस डॉ. कलाम के जीवन को बड़े ही रोचक तरीके से प्रस्तुत करती है। उन्होंने उनके प्रयासों की सराहना की । उन्होंने कहा कि वे इस बात से आश्वस्त थे कि भारी संख्या में भारतीय, विशेषकर युवा लोग उनके जीवन, कार्य और कल्पना पर मोबाइल प्रदर्शनी देखकर लाभान्वित हुए हैं।

कलाम संदेश वाहिनी को हाऊस ऑफ कलाम और चिन्मय यूनिवर्सिटी द्वारा लॉन्च किया गया। वाहिनी डॉ. कलाम के जीवन की विभिन्न घटनाओं और भारतीय वैज्ञानिक उपलब्धियों की प्रमुख बातों को दर्शाती है। इसका उद्देश्य लोगों को शिक्षित करना और प्रेरित करना है। इसकी शुरूआत डॉ. कलाम मैमोरियल के उद्घाटन समारोह के दौरान 27 जुलाई 2017 को रामेश्वरम से प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के द्वारा की गई थी। वाहिनी रामेश्वरम से आरंभ हुई और विभिन्न राज्यों से होते हुए अंत में नई दिल्ली, राष्ट्रपति भवन तक पहुंची।

दिन की शुरूआत में राष्ट्रपति ने राष्ट्रपति भवन में उनके जन्म दिवस के अवसर परडॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम,भारत के पूर्व राष्ट्रपति के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित की। राष्ट्रपति भवन के अधिकारियों और कर्मचारियों ने भी अपने परिवार सहित डॉ. कलाम को इस अवसर पुष्पांजलि अर्पित की।

यह विज्ञप्ति 1300 बजे जारी की गई