इंडियन पोस्टल सर्विस और इंडियन कॉरपोरेट लॉ सर्विस के प्रोबेशनरों ने राष्ट्रपति से भेंट की
राष्ट्रपति भवन : 20.03.2018
इंडियन पोस्टल सर्विस और इंडियन कॉरपोरेट लॉ सर्विस के प्रोबेशनरों के अलग-अलग समूहों ने आज (20मार्च, 2018) राष्ट्रपति भवन में भारत के राष्ट्रपति, श्री राम नाथ कोविन्द से भेंट की।
इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि दोनों सेवाओं की भारत के विकास में एक अहम भूमिका है। डाकखाने उन सुदूर स्थानों पर भी हैं जहां बैंक अभी तक नहीं पहुंचे हैं। संचार प्रौद्योगिकी के इस युग में डाकखानों की भूमिका और डाक नेटवर्क को दुबारा गढ़ने की जरूरत है। भारत सरकार ने डाकखानों को आधुनिक बैंकिंग और भुगतान प्रणालियों के साथ जोड़ने की पहल की है। भारत के डाकखाने कुछ विकसित देशों की तरह ‘वन स्टॉप शॉप्स’बन सकते हैं। वे ई-वाणिज्य में आई तेजी का फायदा उठा सकते हैं।
राष्ट्रपति ने कहा कि किसी भी आधुनिक अर्थव्यवस्था के लिए कॉरपोरेट और बैंकिंग प्रणाली महत्वपूर्ण है। सार्वजनिक कर्मचारियों के रूप में इंडियन कॉरपोरेट लॉ सर्विस के अधिकारियों की जिम्मेदारी कंपनियों और कारोबार की स्थापना और संचालन की प्रक्रिया को सरल बनाने की है। उनकी यह विनियामक जिम्मेदारी है कि वे यह सुनिश्चित करने में मदद करें कि कोई कंपनी विश्वास योग्य हो, और जनता का विश्वास इसमें बना रहे।
राष्ट्रपति ने कहा कि भारत का वर्तमान सकल घरेलू उत्पाद इस समय लगभग 2.3ट्रिलियन अमरीकी डॉलर है। हमने 2025 में पांच ट्रिलियन अमरीकी डॉलर की अर्थव्यवस्था बनने का लक्ष्य तय किया है। इंडियन कॉरपोरेट लॉ सर्विस के अधिकारियों को इस प्रक्रिया में अपनी भूमिका निभानी होगी। कारोबार को सुगम बनाते हुए,उन्हें यह ध्यान रखना होगा कि कॉरपोरेट क्षेत्र में कानूनी और नैतिक आचरण जरूरी है।
यह विज्ञप्ति 1400 बजे जारी की गई