Back

तिरुवनंतपुरम में राष्ट्रपति के सम्मान में नागरिक अभिनंदन समारोह आयोजित किया गया

राष्ट्रपति भवन : 27.10.2017

भारत के राष्ट्रपति, श्री राम नाथ कोविन्द ने आज (27अक्तूबर, 2017) टैगोर थियेटर, तिरुवनंतपुरम में अपने सम्मान में आयोजित एक नागरिक अभिनंदन समारोह को संबोधित किया।

इस अवसर पर, राष्ट्रपति ने कहा कि केरल ऐतिहासिक रूप से आदि शंकराचार्य से लेकर श्री नारायण गुरु और अय्यनकली तक और अन्य अनेक की आध्यात्मिक अगुवाई और सामाजिक सुधारों की परम्परा और आध्यात्मिकता की भूमि है।

इस अवसर पर, राष्ट्रपति ने कहा कि केरल की परम्पराएं और चिन्तन-धारा मानववादी, जनोन्मुख और लोकतांत्रिक रही हैं। केरल में मानव विकास और स्वास्थ्य देखभाल तथा शिक्षा पर बल दिए जाने से शेष देश के सामने एक उदाहरण प्रस्तुत हुआ है। स्वच्छता में केरल की उपलब्धियां सराहनीय हैं। स्थानीय स्वशासन और पंचायती राज में एक बार फिर केरल ने हमारे लोकतंत्र को गंभीरता प्रदान की है।

राष्ट्रपति ने कहा कि केरल के लोग न केवल शिक्षित और ज्ञानसंपन्न हैं अपितु वे शिक्षा और ज्ञान को उद्यम के लिए प्रयोग करने और हमारे राष्ट्र के निर्माण में सहायता करने तथा अन्य क्षेत्रों की बेहतरी और समृद्धि में योगदान करने के आकांक्षी हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि केरल आज भी अंतरराष्ट्रीय समुदाय को आकर्षित कर रहा है। यह मनोरम राज्य,भारत के अग्रणी पर्यटन गन्तव्यों में से एक है। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार राज्य के बाहर के लोग बड़ी संख्या में केरल आते हैं,उसी प्रकार केरल के लोग भी अपने राज्य से बाहर निकले हैं और विश्व में अपना योगदान दिया है। मलयाली प्रवासी समुदाय,बहुत से खाड़ी देशों के कार्यबल का मेरुदंड है। केरल और भारत के विकास में मदद के लिए यह समुदाय धन भेजता रहता है।

दिन की शुरुआत में, राष्ट्रपति ने तिरुवनंतपुरम में समाज सुधारक‘अय्यनकली’की प्रतिमा को माल्यार्पण कर उनके प्रति श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने‘टेक्नोसिटी’परियोजना का भी शुभारंभ किया तथा तिरुवनंतपुरम की टेक्नोसिटी में पहले सरकारी भवन की आधारशिला रखी। कल,दिल्ली लौटने से पूर्व, वह कोच्चि में केरल उच्च न्यायालय के हीरक जयंती समारोह के समापन सत्र में भाग लेंगे।

यह विज्ञप्ति 1945 बजे जारी की गई