भारत के राष्ट्रपति ने कोलकाता में उनके सम्मान में आयोजित सिविक रिसेप्शन में कहा कि बंगाल स्वतंत्रता आंदोलन के अग्रणियों में से एक था, इसे 2022 तक एक बेहतर भारत के लिए प्रयास में भी अग्रणी रहना चाहिए
राष्ट्रपति भवन : 28.11.2017
भारत के राष्ट्रपति, श्री राम नाथ कोविन्द ने आज नवम्बर, 28, 2017 को नेताजी इंडोर स्टेडियम कोलकाता में एक सिविक रिसेप्शन को संबोधित किया।
इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि देश में कहीं पर कुछे ही लोग हैं जो बंगाल और बंगाल की किसी रचनात्मकता से प्रभावित नहीं हुए हैं। इसी प्रकार कुछ मायनों में इस राज्य ने प्रत्येक भारतीय को प्रभावित किया है और प्रत्येक भारतीय के जीवन को समृद्ध किया है। प्रत्येक भारतीय बच्चा बंगाल के बारे में या बंगाल में लिखित कहानियों को पढ़कर बड़ा हुआ है। बंगाल का एक महान इतिहास है परंतु हम सबको यह सुनिश्चित करना है कि बंगाल का एक महान भविष्य भी हो। यह राज्य पूर्व में हमारे देश का एक औद्योगिक और विनिर्माण केंद्र था। इसकी अर्थव्यवस्था फिर से इस युग में डिजिटल और रोबोटिक तकनीकी के गीत गाती हैं। इसके हरे भरे खेत और परिश्रमी किसानों को अद्यतन कृषि ज्ञान के उपकरण दिए जाने चाहिए ताकि वे अपनी क्षमता का दोहन कर सकें।
राष्ट्रपति ने कहा कि 2022 में भारत एक स्वतंत्र देश के रूप में 25 वर्ष मना रहा होगा। यह हमारे लोगों के लिए कुछेक विकासात्मक माइलस्टोन पर पहुंचने और एक बेहतर इंडिया का सृजन करने का अवसर होगा। इसके लिए हमें वही विचारधारा और जोश जगाना होगा जिसने हमारे स्वतंत्रता आंदोलन में योगदान दिया था। बंगाल हमारे स्वतंत्रता आंदोलन का एक अग्रणी था। इसे 2022 तक एक बेहतर भारत के लिए प्रयास में अग्रणी रहना होगा।
राष्ट्रपति ने कहा कि भारत सरकार ने एक आकांक्षा सूचक एक्ट ईस्ट पॉलिसी की शुरुआत की है। इसमें भवन संपर्क परियोजनाएं और आर्थिक पहले शुरू करना शामिल है। ये हमारे पूर्वी और उत्तर पूर्वी राज्यों और पड़ोसी देशों के लिए भी परस्पर लाभदायक होंगे। बंगाल के लोग इस कार्यक्रम में महत्वपूर्ण हैं।
राष्ट्रपति ने कहा कि एक सीमा राज्य होने से बंगाल को कुछ लाभ भी मिलते हैं। यह इन्हें कुछेक दायित्व सौंपता है। मूल सिद्धांत और उग्रवाद के फोर्सेज, उनमें से कुछ क्रॉस बार्डर सहित हमारे लोकतांत्रिक होने का लाभ उठाते हैं। हमें इससे बचना होगा।
यह विज्ञप्ति 1500 बजे जारी की गई