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भारत के राष्ट्रपति श्री राम नाथ कोविन्द जी का ‘सफल महिलाओं’ के समारोह में सम्बोधन

राष्ट्रपति भवन : 20.01.2018

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1. अलग-अलग, असामान्य क्षेत्रों में अपनी अमिट छाप छोड़ने वाली महिलाओं को सम्‍मानित करने के इस समारोह का आयोजन करने का श्रेयमेनका गांधी जी को जाता है।

2. सभी जानते हैं कि दो नोबल पुरस्कार पाने की उपलब्धि सबसे पहले एक महिला ने ही हासिल की थी।मैडम क्यूरी ने विज्ञान जगत में अद्वितीय योगदान देकर, पूरी दुनियां के सामने, महिलाओं की प्रतिभा की श्रेष्ठता की एक अद्भुत मिसाल कायम की है। यह कहा जा सकता है कि, अवसर मिलने पर, महिलाएं असाधारण उपलब्धियां हासिल करने में बहुत आगे रहती हैं।

3. आज हमारे देश में भी महिलाएं राज्यपाल, केंद्रीय मंत्री और उच्चतम न्यायालय की न्यायाधीश जैसे पदों को सुशोभित कर रही हैं। शिक्षा, कला, चिकित्सा और खेल-कूद जैसे क्षेत्रों के अलावा आज वे, पारंपरिक रेखाओं को पार करते हुए, फाइटर पाइलट और रक्षा वैज्ञानिक के रूप में भी अपना योगदान दे रही हैं। आज हमारे बीच ‘मिसाइल वुमन’ के नाम से प्रसिद्ध सुश्री टेस्सी थॉमस भी बैठी हुई हैं। यानी, हर क्षेत्र में महिलाएं, महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं।

4. तमाम चुनौतियों के बावजूद हासिल की गई, आप सभी महिलाओं की असाधारण उपलब्‍धियां,हम सबके के लिए गौरव का विषय हैं।महिलाओं की तरक्की ही, किसी भी देश या समाज की प्रगति का मापदंड है।

5. हमारे देश में महिलाओं की भागीदारी से जुड़े कुछ अच्छे बदलाव दिखाई दे रहे हैं, जिन्हे आप सबके साथ साझा करने में मुझे प्रसन्नता होगी। मैं कई विश्वविद्यालयों और संस्थानों के दीक्षांत समारोहों में गया हूं। अधिकांश संस्थानों में पदक विजेताओं में बेटियों की संख्या बेटों से काफी अधिक होती है, और कहीं-कहीं तो दोगुने से भी अधिक होती है। इसमे मुझे भविष्य के विकसित भारत की झलक दिखाई देती है।

6. जन-धन योजना में लगभग 30 करोड़ खाते खोले गए हैं। एक सर्वेक्षण के अनुसार, इन खातों में आधे से अधिक, यानी 52% खाते महिलाओं के नाम पर हैं। ग्रामीण भारत में, पंचायती-राज संस्थाओं के जरिये, दस लाख से भी अधिक महिलाएं, सत्ता और शासन की जिम्‍मेदारियों को प्रभावशाली तरीके से निभा रही हैं। इस तरह समाज के विभिन्न स्तरों पर महिलाओं की भागीदारी में बढ़ोतरी हो रही है।

7. लेकिन पूर्वाग्रह की मानसिकता के चलते, आज भी महिलाएं हिंसा का शिकार हो रही हैं। सड़कों पर, दफ्तरों-बाज़ारों में, यात्रा करने में, और समारोहों में, वे असुरक्षित महसूस करती हैं। यह हम सबके लिए चिंता का विषय है। इस असुरक्षा को दूर करना, सरकार के साथ-साथ, समाज के हर तबके की भी ज़िम्मेदारी है।

8. मैं समझता हूं कि जिस रफ्तार से महिलाएं सशक्त होंगी, और विभिन्न क्षेत्रों में आगे बढ़ेंगी, उसी गति से हम एक अधिक संवेदनशील और न्यायपूर्ण समाज की ओर आगे बढ़ेंगे। समग्र विकास के लिए महिलाओं का सशक्त होना जरूरी है।

9. जहां महिलाएं अपने बारे में, तथा परिवार और समाज के बारे में खुद फैसले ले सकें, ऐसा माहौल तैयार करना ही सशक्‍तिकरण का मुख्‍य उद्देश्‍य है। इसके लिए,यह जरूरी है, कि महिलाओं के सामाजिक, आर्थिक, राजनैतिक और कानूनी अधिकार पुरुषों के समान हों।

10. महिलाएं, स्वाभाविक रूप से, बहु-आयामी प्रतिभा की धनी होती हैं। उनको आर्थिक रूप से स्वावलंबी बनाने, और हमारे देश की अर्थव्‍यवस्‍था को और अधिक मजबूत बनाने में, उनकी इस क्षमता का, प्रभावी तरीके से उपयोग करना चाहिए। उन्हे परिवार के दायरे से बाहर निकलकर, अपना योगदान देने, और अपनी पहचान बनाने के लिए, प्रेरित करना होगा।


11. सामान्य महिलाओं के हुनर को पहचानने, और उसे निखारने में उनकी मदद करने की ज़िम्मेदारी हम सब की है। यहां उपस्थित आप जैसी असाधारण महिलाएं, देश की अन्य महिलाओं के लिए, प्रेरणा का स्रोत हैं। आप उन्हे हौसला बनाए रखने, और अपने हुनर को निखारने की सीख दे सकती हैं। आप सभी ने यही किया है, और अपनी पहचान बनाई है। आप सभी ने कुछ बड़ा या नया करने का लक्ष्य बनाया, उस लक्ष्य पर अपने आपको पूरी तरह फोकस्ड या केन्द्रित किया, हर परिस्थिति में आत्मविश्वास बनाए रखा, और अपने सपनों को पूरा कर दिखाया। यही प्रेरणा, आप अन्य महिलाओं को दे सकती हैं। अपने लक्ष्य के लिए पूरी तरह समर्पित होने की सलाह देते हुए, स्वामी विवेकानंद ने कहा था:

"Take any one idea. Make that one idea your life – think of it, dream of it, live on that idea. Let the brain, muscles, nerves, every part of your body, be full of that idea and just leave every other idea alone. This is the way to success.”

12. मुझे विश्वास है कि आप जैसी प्रेरक महिलाओं से सीख लेकर, अनेकों महिलाएं अपने जीवन में आगे बढ़ेंगी, और असाधारण सफलताएं प्राप्त करेंगी।

13. मैं एक बार फिर, यहां उपस्थित सभी महिलाओं का हार्दिक अभिनंदन करता हूं। मैं उनके प्रयासों के लिए केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री जी की सराहना करता हूं। आप सब आज इस समारोह में ‘राष्ट्रपति भवन’ में आई हैं।‘राष्ट्रपति भवन’ आप सभी का भवन है। यहां आप सबका हमेशा स्वागत है।

14. बेहतर भारत के निर्माण की दिशा में, महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा, महिला सशक्तिकरण के प्रयासों में सफलता के लिए, मेरी हार्दिक शुभकामनाएं!

धन्यवाद

जयहिन्द !