Back

'मल्टीस्पेशियलिटी हॉस्पिटल, कवरत्ती' के शिलान्यास के अवसर पर भारत के राष्ट्रपति, श्री रामनाथ कोविन्द का संबोधन

कवरत्ती : 07.01.2020

Download PDF

1. आज यहां आपके द्वारा किए गए गर्मजोशी भरे, विशेष और पारंपरिक स्वागत के लिए मैं आपको धन्यवाद देता हूं। भारत के राष्ट्रपति के रूप में कार्यभार संभालने के बाद से लक्षद्वीप की मेरी यह पहली यात्रा है और नव वर्ष की शुरुआत में आप सबके बीच इस सुंदर द्वीप में आ कर मुझे बहुत प्रसन्नता हो रही है। मेरी शुभकामनाएं हैं कि यह नववर्ष लक्षद्वीप के सभी निवासियों के जीवन में प्रसन्नता और खुशहाली लाए।

2. जब मैं राज्यसभा में संसद सदस्य था, तो इस क्षेत्र के लोकप्रिय सांसद, स्व. श्री पी.एम. सईद से मिलने का सुअवसर प्राप्त हुआ था। उन्हें केंद्रीय मंत्री और लोकसभा उपाध्यक्ष बनने का भी गौरव प्राप्त हुआ। वे मुझे इस द्वीप समूह की सुंदरता के बारे में बताते रहते थे और उनके आमंत्रण पर ही मैं संसद सदस्य रहने के दौरान, यहां लक्षद्वीप आया था। वास्तव में यह एक विशेष स्थान है और यहां का प्राकृतिक सौंदर्य अद्वितीय है। लक्षद्वीप के समुद्र का स्वच्छ नीला जल केवल प्रकृति की जादुई छटा ही नहीं दर्शाता है;अपितु यह इन द्वीपों के निवासियों की समझदारी और पर्यावरण के प्रति उनके प्रेम व चिंता का सूचक भी है। लक्षद्वीप की इस छवि में उसका समुद्री जीवन, निर्मल लैगून, प्रवाल भित्तियों, गर्म समुद्री जल और इसके लोगों से मिलकर बना पारिस्थितिकी तंत्र निखरकर सामने आता है।

3. यहां के द्वीप समूह ऐसे प्रतीत होते हैं मानो भारत के छोटे-छोटे मोती अरब सागर में फैले हुए हैं और उनमें एक विशेष चमक भी नजर आती है।देश या विदेश से आए पर्यटकों के लिए ऐसा दूसरा कोई स्थान नहीं है। यहां पर्यटन के लिए और विशेष रूप से जैव-पर्यटन के लिए प्रचुर संभावनाएंमौजूद हैं। सस्‍टेनेबलपर्यटन के निरंतर विस्तार से जैव नाजुक विविधता को हानि पहुंचाए बिना अधिक से अधिक लोगों को इसकी अनुभूति लेने का अवसर प्राप्त हो सकता है।

4. यहां उपस्थित आप सभी लोग और आपकी संस्कृति भारत की विविधता में एकता का जीता जागता उदाहरण हैं। भले ही आप मुख्य भूमि से बहुत दूर रहते हैं, लेकिन आप भाईचारे की मजबूत भावना की डोर के माध्‍यम से देश के साथ जुड़े हुए हैं। मैं इस बात से अवगत हूं कि यहां पर रहने वालों की अपनी कुछ अनोखी चुनौतियां भी हैं, जैसे कि मुख्य भूमि और द्वीपों के साथ संपर्क बनाए रखना, और विशेष रूप से मानसून के दौरान मौसम की कठिन परिस्थिति। हालांकि लक्षद्वीप की प्रगति और विकास में इनसे कोई बाधा नहीं आई है।

5. लक्षदीप के लोगों की प्रशंसा और सराहना करने के कई कारण हैं। मुझे बताया गया है कि जनवरी 2018 से ही लक्षद्वीप खुले में शौच से मुक्त हो गया है और पूरे द्वीप समूह में सिंगल यूज प्लास्टिक पर पूर्ण प्रतिबन्ध लगा दिया गया है। मुझे यह भी जानकारी मिली है कि लक्षद्वीप में शत प्रतिशत संस्थागत प्रसव और टीकाकरण का लक्ष्य हासिल कर लिया है। इसके अलावा केरल के बाद यह ऐसा दूसरा राज्य है जहां साक्षरता दर सर्वाधिक है। ये कुछ ऐसी प्रभावशाली उपलब्धियां हैं जिनको लेकर प्रत्येक भारतवासी को आप पर गर्व होता है।

देवियो और सज्जनो,

6. स्वास्थ्य-चर्या हम सभी के लिए प्राथमिकता का क्षेत्र है और इसलिए आज कवरत्ती के सुपर-स्पेशियलिटी अस्पताल की आधारशिला रखने पर मुझे प्रसन्नता हुई। मुझे विश्वास है कि यह अस्पताल खुलने से कवरत्ती में रहने वाले लोगों के साथ-साथ अन्य द्वीपों में रहने वाले लोगों की स्वास्थ्य संबंधी कई समस्याओं का समाधान होगा। मुझे बताया गया है कि इस चिकित्सालय में एक ही परिसर में अनेक प्रकार की चिकित्सा सुविधाएं होंगी और यहां उपचारात्मक तथा निवारकदोनों सेवाएं उपलब्ध होंगी। इससे भी महत्वपूर्ण बात यह है कि जब यह अस्पताल बन कर तैयार हो जाएगा और पूरी तरह से कार्यशील हो जाएगा, तो इससे मरीजों को इलाज के लिए कोच्चि तक जाने की आवश्यकता बहुत कम हो जाएगी। मुझे विश्वास है कि लक्षद्वीप के प्रशासक इस अस्पताल को यथाशीघ्र संचालन योग्य बनाने के लिए व्यक्तिगत तौर पर ध्यान देंगे।

7. चिकित्सा के क्षेत्र में पद्मश्री से सम्मानित लक्षद्वीप की अपनी, डॉ. एस. रहमत बेगम आज हमारे बीच मौजूद हैं। मुझे पता है कि यहां अन्य डॉक्टर और चिकित्सा क्षेत्र के पेशेवर भी उपस्थित हैं। हमारे देश में डॉक्टरों को भगवान का दर्जा दिया जाता है। ऐसा इसलिए क्योंकि आपने वह ज्ञान और कौशल अर्जित कर लिया है जिससे जीवन बचाया जा सकता है। आप लोगों की सेवा करते हैं, आप उनकी पीड़ा हरते हैं। आज के इस संकटग्रस्त युग में आप लोगों में एक अद्भुत और असाधारण गुण होता है और वह गुण है-करुणा का। मैं आप लोगों से इसी प्रकार संवेदनशील बने रहने और लोगों के जीवन को बेहतर बनाने के लिए अपने ज्ञान के उपयोग को निरंतर जारी रखने का आग्रह करता हूं।

8. मुझे बताया गया है कि 14 अन्य आयुष औषधालयों के साथ यहाँ दीनदयाल उपाध्याय हॉस्पिटल में भी आयुष सेवा उपलब्ध कराई जाती है। इस प्रकार आप लोगों को भारतीय पारंपरिक चिकित्सा पद्धति की सुविधा भी उपलब्ध है। चिकित्सा जगत के पेशेवर और अन्य लोगों को भारतीयपरंपरागतचिकित्सा पद्धति कायथासंभव उपयोग करना चाहिए।

देवियो और सज्जनो,

9. इसमें कोई संदेह नहीं कि लक्षद्वीप प्रकृति के सबसे मनोहारी उपहारों में से है और यहां के लोगों ने इसकी सुंदरता और पर्यावरण-तंत्र को सहेजने के लिए काफी कुछ किया है। फिर भी, ऐसी कुछ समस्याएं हैं जिनका सामना लक्षद्वीप के लोगों को करना पड़ रहा है। उदाहरण के लिए, मुझे बताया गया है किलक्षद्वीप के सभी द्वीप बिजली के लिए पूरी तरह से डीजल जनरेटर पर निर्भर हैं। हमें डीजल जनित बिजली पर निर्भरता को कम करने के तरीके तलाशने होंगे। मुझे बताया गया है कि ‘राष्ट्रीय मत्स्य विकास बोर्ड’ ने पवन एवं सौर ऊर्जा से चलने वाली सूक्ष्म विद्युत इकाइयों की पायलट परियोजनाएंस्थापित करने में सफलता पाई है। यहाँ हवा और धूप दोनों प्रचुर मात्रा में उपलब्ध हैं, इसलिए हमें लक्षद्वीप में नवीकरणीय ऊर्जा के उपयोग का विस्तार करने पर विचार करना चाहिए। मुझे यह भी ज्ञात है कि लक्षद्वीप में पीने योग्य पानी की कमी है। यह भी एक ऐसा क्षेत्र है जहाँ नवाचारी समाधान खोजने और अपनाने की आवश्यकता है। मुझे विश्वास है कि लक्षद्वीप के लोग और संबंधित प्राधिकारी ऐसी सभी समस्याओं के समाधान के लिए साथ मिलकर काम करेंगे।

10. अपना वक्तव्य समाप्त करने से पहले, मैं आप सभी से एक आग्रह करता हूं। आग्रह यह है कि जब कभी भी आप दिल्ली आएं, कृपया राष्ट्रपति भवन अवश्य आएं। यह भवन भले ही मेरा कार्यालय और निवास हो, किंतु यह भवन आप सभी का, सभी भारतीयों का है। एक बार पुनः, मैं यहां उपस्थित आप सभी लोगों को और लक्षद्वीप की समस्‍त जनता को हार्दिक शुभकामनाएं देता हूं।

आप सभी को धन्यवाद।

जय हिन्द!