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फ्रांस गणराज्य के महामहिम राष्ट्रपति ईमेनुएल माक्रोन और अंतरराष्‍ट्रीय सौर गठबंधन संस्‍थापन समारोह में भाग लेने आए हुए अन्‍य विश्‍व नेताओं के सम्‍मान में आयोजित राजभोज में भारत के राष्‍ट्रपति, श्री राम नाथ कोविन्‍द का अभिभाषण

राष्‍ट्रपति भवन : 10.03.2018

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फ्रांस गणराज्य के महामहिम राष्ट्रपति ईमेनुएल माक्रोन,

मादाम ब्रिजीट माक्रोन,

महामहिम-गण, विशिष्ट अतिथि-गण,

देवियो और सज्जनो,

भारत की प्रथम राजकीय यात्रा पर राष्ट्रपति महोदय आपका और मादाम माक्रोन का स्वागत करना मेरे लिए सम्मान की बात है।

आपकी राजकीय यात्रा अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन संस्थापन समारोह की पूर्व संध्या पर हो रही है जिससे यह यात्रा और भी विशेष हो गई है।

मैं यहां उपस्थित 45 देशों के राष्ट्रपतियों, उप राष्ट्रपतियों, प्रधान मंत्रियों, उप प्रधान मंत्रियों और मंत्रियों तथा अंतरराष्ट्रीय संगठनों के अध्यक्षों का भी हार्दिक स्वागत करता हूं। हम, अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन के प्रति उनके समर्थन के लिए उनका हार्दिक धन्यवाद करते हैं। विशिष्ट नेताओं की इतनी गहरी प्रतिबद्धता को देखते हुए, मैं यही कह सकता हूं कि कल का समारोह भी अत्यंत सफल होगा।

महामहिम,

भारत और फ्रांस की मैत्री, विशेष मैत्री है। विश्व की एक साझी संकल्पना हमें जोड़ती है। यह संकल्पना एक ऐसे विश्व की है जो लोकतांत्रिक मूल्यों और शांतिपूर्ण सह-अस्तित्व पर आधारित हो। हम दोनों देश एक ऐसे बहुध्रुवीय विश्व के लिए प्रयास कर रहे हैं जो नियम आधारित विश्व व्यवस्था पर निर्मित हो।

हम इस वर्ष अपनी राजनीतिक साझेदारी की 20वीं वर्षगांठ मना रहे हैं इसलिए अपनी अब तक की द्विपक्षीय संबंध यात्रा पर नज़र डालने का यह सही समय है। हमारे दोनों देश फैशन, खान-पान से लेकर बाहरी अंतरिक्ष तक मानव उद्यम के लगभग प्रत्येक आयाम में मिलकर कार्य कर रहे हैं।

साथ ही, हमारा सामरिक सहयोग नए-नए क्षेत्रों में आगे बढ़ रहा है। हिन्द महासागर क्षेत्र, साइबर स्पेस और अगले दौर का प्रौद्योगिकी संसार, हमारे द्वारा मिल-जुलकर कार्य करने की असीम संभावनाएं प्रस्तुत करता है।

अपनी सेनाओं के बीच हम प्रचालन संपर्क बढ़ाते जा रहे हैं। और साथ ही, हम उन्नत रक्षा सहयोग में प्रौद्योगिकी और विनिर्माण क्षेत्रों में साझीदार बनने के मुकाम पर खड़े हैं।

स्वच्छ और नवीकरणीय ऊर्जा तथा एक सतत भविष्य की हमारी तलाश में हम फ्रांस को अहम साझेदार के रूप में देखते हैं।

महामहिम,

भारतीय अर्थव्यवस्था उच्च विकास पथ पर अग्रसर है। हमारे ‘मेक इन इंडिया’, ‘डिजिटल इंडिया’, ‘स्टार्ट-अप इंडिया’ और ‘स्वच्छ भारत’ जैसे कार्यक्रम संभावनाओं से भरे हुए हैं। इनसे आपके देश की कंपनियों के लिए कई गुना अवसर पैदा हो रहे हैं। मुझे खुशी है कि भारत में पहले ही बड़ी संख्या में फ्रांसीसी कंपनियां ‘स्मार्ट सिटी’, आधारभूत ढांचे और रेलवे जैसे क्षेत्रों में कार्यरत हैं। हम इस गतिमान साझेदारी को और मज़बूत करने के लिए उत्सुक हैं।

महामहिम,

हमारी विश्व साझेदारी का विस्तार हो रहा है। हमें अपने आस-पास शांति, सुरक्षा और स्थिरता के लिए पहले से ज्यादा प्रतिबद्धता के साथ मिलकर कार्य करते रहना चाहिए।

सुरक्षा के मामले में हमारा सहयोग बढ़ रहा है। आतंकवाद के रूप में, हम एक साझे शत्रु का सामना कर रहे हैं। इस बुराई से लड़ने के अपने प्रयासों को हमें एक बार फिर बढ़ाना होगा।

प्रतिष्ठित मंचों पर अपनी जगह पाने के लिए अपनी साधिकार दावेदारी के प्रति आपके समर्थन की हम दिल से सराहना करते हैं।

महामहिम,

हमारा सांस्कृतिक संबंध गहरा और विविधतापूर्ण रहा है। भारतीय दर्शन और महाकाव्यों के प्रति फ्रांस की जिज्ञासा से इन में सराहनीय विद्वत्तापूर्ण कार्य हुआ है।

हम भारतीय लोग सिनेमा से प्यार करते हैं और आपको हम इस में एक दिलचस्प भागीदार के रूप में देखते हैं; फिर चाहे जौ रेनुआ की फिल्में हों या ‘का:न’ महोत्सव हो।

यह वर्ष हमारे आध्यात्मिक और सांस्कृतिक रिश्तों के लिए खास महत्व रखता है; हम अपने देश में भारतीय-फ्रांसीसी आवासगृह ‘औरो-विल’ की स्थापना के 50 वर्ष पूरे होने का उत्सव मना रहे हैं।

महामहिम, हम दोनों देश सतत विश्व के प्रति वचनबद्ध हैं। इसे साकार करने के लिए हमें अपने युवाओं को एक-दूसरे से बातचीत और संपर्क करने के और अधिक अवसर देने होंगे। मुझे आशा है कि आवागमन, कौशल और शिक्षा के क्षेत्र में बनी हमारी नई सहमति से उनके लिए नए द्वार खुलेंगे।

महामहिम, कल ‘अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन’ एक सुनहरे भविष्य की शुरुआत करेगा। कल के सम्मेलन में दुनिया के चारों कोनों से विशिष्ट नेताओं की बड़ी संख्या में उपस्थिति इस कथन को सत्य सिद्ध करती है कि ‘हमें अपना भविष्य पूर्वजों से विरासत में नहीं मिला; हमने इसे अपने बच्चों से उधार लिया है।’ भविष्य से लिए गए इस ऋण को चुकाने की हमारी साझी जिम्मेदारी ने हमें अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन की स्थापना की प्रेरणा दी है।

राष्ट्रपति माक्रोन, हम जलवायु परिवर्तन के विरुद्ध लड़ाई में आपके प्रयासों की सराहना करते हैं। आप इस प्रयास में एक विश्वसनीय साझीदार के रूप में भारत को अपने साथ खड़ा पाएंगे।


महामहिमगण, देवियो और सज्जनो, इन्हीं शब्दों के साथ, आइए हम सब मिलकर:

- राष्ट्रपति माक्रोन और मादाम ब्रिजीट माक्रोन के अच्छे स्वास्थ्य और सफलता की;

- यहां उपस्थित विशिष्ट नेताओं के अच्छे स्वास्थ्य और सफलता की;

- फ्रांस की मैत्रीपूर्ण जनता की प्रगति और समृद्धि की; और

- भारत और फ्रांस की चिरस्थायी मैत्री की कामना करें।

धन्यवाद।