स्विट्जरलैंड की राष्ट्रपति महामहिम डोरिस ल्यूथार्ड के सम्मान में आयोजित राज-भोज के अवसर पर भारत के राष्ट्रपति, श्री राम नाथ कोविन्द का अभिभाषण
राष्ट्रपति भवन, नई दिल्ली : 31.08.2017
स्विस परिसंघ की राष्ट्रपति, महामहिम डोरिस ल्यूथार्ड,
स्विस शिष्टमंडल के विशिष्ट सदस्यगण,
देवियो और सज्जनो,
1. मादाम राष्ट्रपति, मुझे आपका और आपके शिष्टमंडल के सदस्यों का, भारत आगमन पर स्वागत करके प्रसन्नता हो रही है। आपकी यात्रा का विशेष महत्व है क्योंकि यह वर्ष द्विपक्षीय संबंधों का एक पड़ाव है। हमारे देश मैत्री और स्थापना संधि के 70वें वर्ष में प्रवेश कर रहे हैं। भारत स्वयं अपनी स्वतंत्रता की70वीं वर्षगांठ मना रहा है।
2. महामहिम, दोनों देशों के संबंध संधि में निहित शब्दों‘‘निरंतर शांति और स्थायी मैत्री रहेगी’’ के प्रति निष्ठावान हैं। स्वच्छ ऊर्जा से लेकर स्वच्छ वित्तीय प्रणाली तक की खोज के हमारे लक्ष्य अत्यंत सुसंगत हैं। टेनिस कोर्ट पर ,मार्टिना हिंगिज और सानिया मिर्जा ने दिखाया है कि स्विट्जरलैंड और भारत मिलकर बहुत कुछ कर सकते हैं। हमें अन्य क्षेत्रों में इस साझेदारी से प्रेरणा लेनी होगी।
3. इस संदर्भ में, आपकी यात्रा और 2016 में प्रधान मंत्री मोदी की यात्रा ने दोनों राष्ट्रों के उच्चतम स्तर पर घनिष्ठ संपर्कों को कायम रखने की आकांक्षा को दर्शाया है। आप भारत की यात्रा करने वाली चौथी राष्ट्रपति हैं। मैं उल्लेख करना चाहूंगा कि आप पहली स्विस राष्ट्रपति हैं जो नवंबर के महीने के अलावा भारत की यात्रा पर आई हैं! मुझे खुशी है कि इससे आपको भारतीय मानसून का आनंद उठाने का अवसर मिलेगा।
महामहिम, हम दोनों लोकतांत्रिक और बहुलवादी समाजों का प्रतिनिधित्व करते हैं जो‘‘असहमति के प्रति सम्मान’’ और ‘‘अनेकता में एकता’’ के सिद्धांतों में विश्वास करते हैं। स्विट्जरलैंड भारत का सातवां सबसे बड़ा व्यापार साझीदार और ग्यारहवां सबसे बड़ा विदेशी निवेशक है। इसी प्रकार, भारत विश्व की सबसे तेजी से बढ़ रही विशाल अर्थव्यवस्था है। मजबूत आर्थिक क्षेत्रों सहित सात प्रतिशत की सकल घरेलू उत्पाद वृद्धि दर में ,सुधार की गति, राजकोषीय समेकन और चालू खाते के कम घाटे का योगदान है।
स्विट्जरलैंड के साथ हम और सहयोग कर सकते हैं। आपकी अर्थव्यवस्था विश्व की सबसे नवान्वेषी और स्पर्द्धात्मक अर्थव्यवस्थाओं में शामिल है। व्यावसायिक प्रशिक्षण पर जोर देने के साथ-साथ सराहनीय दोहरी शिक्षा प्रणाली द्वारा इसमें सहयोग दिया जाता है। हमें स्विट्जरलैंड के पर्यावरणीय तरीकों के साथ-साथ इन खूबियों से अनेक अवसर प्राप्त होते हैं।
हम अपने व्यापार, निवेश और प्रौद्योगिक आदान-प्रदान को बढ़ा सकते हैं और उन्हें विविध बना सकते हैं। हमारे देशों को सूक्ष्म और उच्च प्रौद्योगिकी निर्माण,बुनियादी ढांचे, कौशल विकास , नवीकरणीय ऊर्जा और स्वच्छ-तकनीकी अनुसंधान जैसे प्रमुख क्षेत्रों में और घनिष्ठ कारोबार साझेदारियां भी करनी चाहिए।
अनुसंधान और विकास प्रयोगशालाओं और संस्थाओं के बीच साझेदारियां करने की संभावना मौजूद है। हम पारंपरिक चिकित्सा प्रणाली के रूप में, आपके देश द्वारा आयुर्वेद को दी गई मान्यता को महत्वपूर्ण समझते हैं। इसमें भी और सहयोग करने की गुंजाइश है।
महामहिम, इस प्रकार हमारी सरकारें हमारे दोनों देशों के बीच मजबूत जन और कारोबार संपर्क बना रही हैं। भारत के लिए,स्विट्जरलैंड पनीर, चॉकलेट और रोजर फेडरर की धरती है। हमारी जनसंख्या को देखें तो हमारे देश में उनके देश से ज्यादा प्रशंसक हैं।
बहुत से भारतीय आपके देश की खूबसूरती से परिचित हैं क्योंकि यह हमारी कुछ बेहतरीन फिल्मों की पृष्ठभूमि रही है। इससे एक पर्यटन स्थल के रूप में स्विट्जरलैंड का आकर्षण बहुत बढ़ गया है। हमारे देश को स्विस पर्यटकों के ऐसे ही उत्साह की जरूरत है प्रतीक्षा है।
भारत में पर्यटकों के लिए ऐतिहासिक और धार्मिक स्मारकों की एक समृद्ध विरासत और प्राकृतिक सौंदर्य के विविध दृश्य मौजूद हैं। हमें खुशी है कि आप यहां आई हैं परंतु हम चाहते हैं कि आप बार-बार यहां आएं।
महामहिम, आपके देश की तरह भारत बहुपक्षवाद के प्रति वचनबद्ध है। फिर भी बहुपक्षीय व्यवस्था के लिए अनेक परिवर्तन करने की जरूरत है। जैसेः
• संयुक्त राष्ट्र और अन्य बहुपक्षीय संस्थाओं का सुधार और पुनर्गठन
• अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद और कट्टरतावाद तथा वित्तीय और साइबर अपराध और इंटरनेट शासन की तात्कालिक चुनौतियों से निपटना
• जलवायु परिवर्तन की गहरी चिंताओं का सामना करना और सतत विकास लक्ष्यों को हासिल करना।
भारत, नियम आधारित बहुपक्षीय प्रणाली के दायरे में काम करते हुए,इन सभी प्रयासों में स्विट्जरलैंड के साथ कार्य करने के लिए उत्सुक है।
महामहिम, हम मानते हैं कि आपकी यात्रा हमारे देशों के संबंधों को और अधिक ऊर्जा प्रदान करेगी। हम भिन्न समाज हैं परंतु फिर भी कुछ समान हैं। हमारे एक जैसे मूल्य हैं और हम उन्हें बढ़ावा देते हैं। यह अल्पास और हिमालय पर्वत की साझेदारी है। यह और ऊंचे शिखर पर न पहुंच सके , ऐसा कोई कारण नहीं है।
इसी उम्मीद के साथ,
देवियो और सज्जनो, आइए हम सब मिलकरः
•राष्ट्रपति ल्यूथार्ड के स्वास्थ्य और खुशहाली;
•स्विट्जरलैंड के लोगों की प्रगति और समृद्धि, और ;
•स्विट्जरलैंड और भारत के बीच संबंधों को और घनिष्ठ बनाने की कामना करें।
धन्यवाद।